रायपुर। जिस विभाग में उस महिला ने जीवन भर काम किया वहां के बाबुओं ने ही रिटायरमेंट के बाद उससे रिश्वत की मांग की। किश्तों में रूपये देने के बाद भी बार-बार दौड़ाने से दुखी महिला ने मामले की शिकायत एंटी करप्शन ब्यूरो से कर दी, जिसके बाद टीम बनाकर एक महिला और एक पुरुष कर्मचारी को रिश्वत लेते रंगे हाथ पकड़ लिया गया।
यह मामला महासमुंद जिले मे पशुधन विकास विभाग का है जहां पदस्थ दो बाबूओ को एंटी करप्शन ब्यूरो ने 39 हजार रुपये रिश्वत लेते रंगे हाथो गिरफ्तार किया है। विभाग मे पदस्थ सहायक ग्रेड- 2 उमाशंकर गुप्ता व सहायक ग्रेड- 1 सविता त्रिपाठी भृत्य के पद पर कार्यरत 31 अगस्त 2022 को सेवानिवृत्त हुई सुरेखा राउत से रिश्वत लेते पकड़े गए।
सुरेखा राउत ने बताया कि वह महासमुंद के उप संचालक, पशु चिकित्सा सेवाएं कार्यालय में बतौर भृत्य सालों तक कार्यरत रही।
बाद में उसे शासकीय पशु प्रजनन, अंजोरा दुर्ग में संलग्न कर दिया गया, मगर उसकी मूल पदस्थापना महासमुंद में ही रही। यही वजह है कि सेवानिवृत्ति के बाद उसके पेंशन और जीपीएफ की स्वीकृति संबंधी प्रक्रिया पशु चिकित्सा सेवाएं कार्यालय महासमुंद में चल रही थी। सुरेखा बाई और उसके पति भोई सिंग राउत ने बताया कि स्वीकृति के लिए उनसे खर्चे की मांग की गई। वे दो किश्त में 17 हजार और 40 हजार रूपये दे भी चुके थे, मगर उनसे 40 हजार रूपये और मांगे जा रहे थे, तब उन्होंने कार्रवाई करने का मन बनाया, और एंटी करप्शन ब्यूरो में इसकी शिकायत कर दी।
शिकायत की पुष्टि होने के बाद एंटी करप्शन ब्यूरो के डीएसपी विक्रांत राही की अगुवाई मे 15 सदस्यीय टीम ने पशुधन विकास विभाग में छापा मारा और सरिता त्रिपाठी, सहायक ग्रेड-01 व उमाशंकर गुप्ता, सहायक ग्रेड-02 को 39 हजार रुपये नगद रिश्वत लेते रंगे हाथों गिरफ्तार किया। एंटी करप्शन ब्यूरो ने दोनो आरोपियों को गिरफ्तार कर कोर्ट मे पेश किया। आरोपियों के विरूद्ध धारा-7(क), 12 भ्र०नि०अधि0 1988 के तहत अपराध पंजीबद्ध करते हुए उनके खिलाफ कार्रवाई की गई।
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