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बायीं आंख के पीछे हिस्से में करीब 7cm तक घुसे चाकू को डॉक्टरों निकाला, बची आंख की रोशनी
बायीं आंख के पीछे हिस्से में करीब 7cm तक घुसे चाकू को डॉक्टरों निकाला, बची आंख की रोशनी

रायपुर। राजधानी के डाॅ. भीमराव अम्बेडकर स्मृति चिकित्सालय स्थित नेत्र रोग विभाग के डॉक्टरों ने रविवार देर रात आपात स्थिति में आये 32 वर्षीय युवक के बायीं आंख के पीछे घुसे हुए धारदार चाकू को ऑपरेशन कर सफलतापूर्वक निकालते हुए युवक के आंख की रोशनी बचा ली।

विभागाध्यक्ष नेत्र रोग विभाग डाॅ. निधि पांडेय एवं डॉ. अमृता वर्मा के मार्गदर्शन में हुए इस सफल ऑपरेशन में जोखि़म इस बात का था कि चाकू बायें गाल से घुसकर हड्डी को पार करता हुआ आंख के पीछे जाकर फंस गया था जिसके कारण मरीज असहनीय पीड़ा में था और आंख की मांसपेशियां भी कट गई थीं।

लगभग 7 सेंटीमीटर अंदर घुसे चाकू को डाॅ. निधि पांडेय, डॉ. अमृता वर्मा एवं टीम ने बेहद सावधानीपूर्वक ऑपरेशन करके बाहर निकाला व युवक की बायीं आंख एवं उसकी रोशनी (नेत्र ज्योति) बचाने में सफल रहे। इस केस के संबंध में जानकारी देते हुए डाॅ. निधि पांडेय एवं डॉ. अमृता वर्मा ने बताया कि रविवार-सोमवार की दरमियानी रात सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र खरोरा से एक युवक आपात् चिकित्सा विभाग में हाथापाई (असाल्ट) का शिकार होकर आया था।

युवक को हाथापाई के दौरान किसी ने चाकू मार दिया था जो बायें गाल से घुसकर हड्डी को पार करता हुआ आंख के पीछे जाकर फंस गया था जिसके कारण मरीज असहनीय पीड़ा में था। आंख की मांसपेशियां भी कट गई थी। एक्स-रे, सीटी स्कैन कराने पर मालूम हुआ कि चाकू लगभग 7 सेंटीमीटर अंदर घुसा हुआ है। समस्त जांच करने के बाद ऑपरेशन के दौरान चुनौती इस बात की थी कि चाकू भी बाहर आ जाये और युवक की आंख की रोशनी भी बच जाये।

डाॅ. निधि पांडेय के नेतृत्व में डाॅ. अमृता वर्मा, डाॅ. विनन्ती कंगाले ध्रुव, डाॅ. मुकेश भगत की टीम ने युवक की आंखों के साथ-साथ उसकी रोशनी को सफलतापूर्वक सुरक्षित बचा लिया।

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