Get all latest Chhattisgarh Hindi News in one Place. अगर आप छत्तीसगढ़ के सभी न्यूज़ को एक ही जगह पर पढ़ना चाहते है तो www.timesofchhattisgarh.com की वेबसाइट खोलिए.

समाचार लोड हो रहा है, कृपया प्रतीक्षा करें...
Disclaimer : timesofchhattisgarh.com का इस लेख के प्रकाशक के साथ ना कोई संबंध है और ना ही कोई समर्थन.
हमारे वेबसाइट पोर्टल की सामग्री केवल सूचना के उद्देश्यों के लिए है और किसी भी जानकारी की सटीकता, पर्याप्तता या पूर्णता की गारंटी नहीं देता है। किसी भी त्रुटि या चूक के लिए या किसी भी टिप्पणी, प्रतिक्रिया और विज्ञापनों के लिए जिम्मेदार नहीं हैं।
कब और कैसे करनी चाहिए गुरुवार व्रत की शुरुआत, जानिए इस व्रत की विधि …

पंचांग के अनुसार, गुरुवार का दिन भगवान श्री हरि विष्णु को समर्पित है। इस दिन भगवान विष्णु की विधि विधान से पूजा करना शुभ माना जाता है। ज्योतिष शास्त्र के अनुसार, अगर व्यक्ति की कुंडली में गुरु मजबूत नहीं है और शादी में कई अड़चनों का सामना करना पड़ रहा है, तो गुरुवार का व्रत काफी लाभकारी साबित हो सकता है। इसके साथ ही ज्योतिषी अविवाहित जातकों को गुरुवार का व्रत रखने की सलाह देते हैं। माना जाता है कि गुरुवार का व्रत करने से व्यक्ति को सभी समस्याओं से छुटकारा मिल जाता है है । इसके साथ ही कुंडली में गुरु ग्रह मजबूत हो जाता है। जानिए गुरुवार व्रत के बारे मे सबकुछ

कैसे रखें व्रत

हर व्रत की तरह गुरुवार व्रत का भी अलग विधान होता है। यह व्रत 16 गुरुवार तक लगातार रखा जाता है और 17 वें गुरुवार को व्रत का उद्यापन किया जाता है। लेकिन यदि महिलाओं को इस बीच मासिक धर्म होता है तो उस गुरुवार को छोड़ कर अगले से व्रत करना चाहिए।

गुरुवार व्रत की शुरुआत कैसे करें

गुरुवार व्रत पौष माह को छोड़कर आप कभी भी कर सकते हैं। लेकिन इस बात का ख्याल रखें कि गुरुवार व्रत की शुरुआत शुक्ल पक्ष से करें। शुक्ल पक्ष व्रत और तीज त्यौहार के लिए काफी शुभ माना जाता है।

गुरुवार व्रत की विधि

गुरुवार व्रत करने के लिए सुबह जल्दी उठकर नित्यकर्म और स्नान करें। इसके बाद पूजाघर या केले के पेड़ के नीचे विष्णु भगवान की प्रतिमा या फोटो रखकर उन्हें प्रणाम करें। कोई नया छोटा सा पीला वस्त्र भगवान को अर्पित करें। हाथ में चावल और पवित्र जल लेकर व्रत का संकल्प लें। एक लोटे में पानी और हल्दी डालकर पूजा के स्थान पर रखें। भगवान को गुड़ और धुली चने की दाल का भोग लगाएं। गुरुवार व्रत की कथा का पाठ करें। भगवान को प्रणाम करें और हल्दी वाला पानी केले की जड़ या किसी अन्य पौधे की जड़ों में डालें।

गुरुवार व्रत का शुभ फल पाने के लिए व्रत वाले दिन व्यक्ति को तन और मन से पवित्र रहते हुए चंदन अथवा तुलसी की माला से देवगुरु बृहस्पति के मंत्र ‘ॐ बृं बृहस्पतये नमः‘ अथवा ‘ॐ ग्रां ग्रीं ग्रौं सः गुरवे नमः’ का अधिक से अधिक जाप करना चाहिए.

गुरुवार का व्रत करने से भगवान विष्णु जीवन के समस्त कष्ट को दूर कर देते हैं साथ ही जीवन में सुख समृद्धि की वर्षा करते हैं।

The post कब और कैसे करनी चाहिए गुरुवार व्रत की शुरुआत, जानिए इस व्रत की विधि … appeared first on Lalluram Hindi news, हिंदी न्यूज़, Hindi Samachar – Lalluram.com.

https://lalluram.com/when-and-how-to-start-thursday-fast-know-the-method-of-this-fast/