भारत ने बीते कुछ सालों में रक्षा क्षेत्र में ऊंची छलांग लगाई है और अब आने वाले सालों में इसमें और इजाफा होने की तैयारी है। भारत की ओर से अफ्रीका समेत दुनिया के कई देशों को 35,000 करोड़ रुपये तक के हथियार और ड्रोन्स आदि बेचे जाने की तैयारी है। डिफेंस एग्जिबिशन से इतर रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने इन तैयारियों के बारे में जानकारी दी है। इस प्रदर्शनी में भारत स्वदेश में बने हथियारों, उभरती तकनीकों पर अपनी रिसर्च और स्वार्म ड्रोन्स जैसे उपकरणों की ताकत दुनिया को दिखाएगा। इसके अलावा आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस के मामले में भी भारत ने बड़ी सफलता हासिल की है। अब भारत की कोशिश है कि इन हथियारों और तकनीकों को हिंद महासागर के देशों और अफ्रीकी मुल्कों को निर्यात किया जाए।
इसी कड़ी में भारत की तैयारी है कि 2025 तक यह निर्यात 35,000 करोड़ रुपये तक बढ़ा लिया जाए। अफ्रीकी देशों के अपने समकक्षों से बातचीत में जुटे राजनाथ सिंह ने कहा कि हमारा लक्ष्य है कि 2025 तक इस बड़े आंकड़े को हासिल किया जाए। बीते साल भी भारत ने 13,000 करोड़ रुपये की रक्षा सामग्री का निर्यात किया था। डिफेंस सेक्रेटरी अजय कुमार ने कहा कि इस साल के एक्सपो में कुल 451 एग्रीमेंट्स पर साइन होने वाले हैं। इनमें प्रोडक्ट्स की लॉन्चिंग और टेक्नोलॉजी ट्रांसफर शामिल है। मंगलवार को शुरू हुए एक्सपो से पहले राजनाथ सिंह ने कहा कि भारत दुनिया के सबसे बड़े हथियार आयातक देश से आगे निकलते हुए टॉप 25 निर्यातकों में शामिल होने में सफलता पाई है।
इस बार सिर्फ भारतीय कंपनियों की होगी प्रदर्शनी
राजनाथ सिंह ने कहा कि निजी और सरकारी क्षेत्र मिलकर काम करेंगे तो आने वाले समय में हमारा निर्यात और तेजी से बढ़ेगा। उन्होंने कहा कि हम तेजी से डिजाइन, मैन्युफैक्चरिंग में लीडर के तौर पर आगे बढ़ रहे हैं। हम अब आयातक होने की बजाय निर्यातक बनने की दिशा में हैं। इस बार के एक्सपो में सिर्फ भारतीय कंपनियों को ही शामिल होने की परमिशन दी गई है। हालांकि विदेशी कंपनियों को सेमीनार और मीटिंग्स आदि के लिए आमंत्रित किया गया है। खासतौर पर भारतीय स्टार्टअप्स और कंपनियों में निवेश के लिए बातचीत को बुलाया गया है।
1,340 कंपनियां शामिल, 175 देशों का रहेगा प्रतिनिधित्व
डिफेंस मिनिस्ट्री का कहना है कि यह एक्सपो सबसे बड़ा है, जिसमें 1,340 कंपनियों ने पंजीकरण कराया है। पीएम नरेंद्र मोदी भी बुधवार को इसमें पहुंचने वाले हैं और इंडिया पैवेलियन का उद्घाटन करने वाले हैं। इसमें हथियारों के अलावा ड्रोन और आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस तकनीक को भी दिखाया जाएगा। अधिकारियों का कहना है कि इस एक्सपो में कुल 75 देशों की ओर से हिस्सा लिया जाएगा।