पाकिस्तान इस वक्त भयावह बाढ़ से जूझ रहा है। दक्षिण एशियाई देश का एक तिहाई हिस्सा पानी में डूब चुका है। बुधवार को 18 और मौतों के साथ पाकिस्तान में मरने वालों की संख्या 1343 हो गई है। इस बीच देश के बाढ़ प्रभावित इलाकों का दौरा करने के बाद प्रधानमंत्री शहबाज शरीफ इमोशनल हो गए। उन्होंने कहा समुद्र की तरह दिख रहा है पाकिस्तान।
पाकिस्तान के अधिकारियों का अनुमान है कि जलवायु परिवर्तन के कारण हुई इस आपदा में 220 मिलियन की आबादी में से 33 मिलियन यानी 3.3 करोड़ लोग प्रभावित हुए हैं। लाकों की संख्या में लोग बेघर हो गए हैं और पाकिस्तान की अर्थव्यवस्था को कम से कम 10 बिलियन डॉलर का नुकसान हुआ है।
शहबाज शरीफ ने सिंध के दक्षिणी प्रांत की यात्रा के बाद मीडिया से कहा, “आपको वहां विनाश के पैमाने पर विश्वास नहीं होगा।” “जहां तक आप देख सकते हैं, यह हर जगह पानी है। यह बिल्कुल समुद्र की तरह है।” उन्होंने कहा कि सरकार, जिसने बाढ़ पीड़ितों के लिए नकद सहायता को बढ़ाकर 70 अरब पाकिस्तानी रुपये (313.90 मिलियन डॉलर) कर दिया है, विस्थापित परिवारों के लिए 200,000 टेंट भी खरीदेगी।
पानी घटने के बाद बीमारी फैलने का खतरा
शरीफ ने कहा कि घटते पानी से जलजनित संक्रामक रोगों के रूप में एक नई चुनौती का खतरा है। उन्होंने कहा, “हमें इस आपदा से निपटने के लिए खरबों रुपये की आवश्यकता होगी।” उधर, संयुक्त राष्ट्र ने बाढ़ पीड़ितों की मदद के लिए 160 मिलियन डॉलर की सहायता का ऐलान किया है।
गौरतलब है कि पाकिस्तान में आई विनाशकारी बारिश और फिर बाढ़ का सबसे प्रभावित इलाका सिंध प्रांत है। यहां पाकिस्तान की सबसे बड़ी ताजे पानी की झील खतरनाक और विकराल रूप ले चुकी है। पाकिस्तानी सेना के विशेष ऑपरेशन में यहां से एक लाख लोगों को विस्थापित किया जा चुका है।
राष्ट्रीय आपदा अधिकारियों ने कहा कि पिछले 24 घंटों में मरने वालों में आठ बच्चे शामिल हैं। पाकिस्तान के उत्तरी पहाड़ों में रिकॉर्ड मॉनसून बारिश और ग्लेशियर के पिघलने से बाढ़ आई थी। संयुक्त राष्ट्र शरणार्थी एजेंसी (यूएनएचसीआर) के एक शीर्ष अधिकारी ने चेतावनी दी है कि आने वाले महीने में और बारिश की संभावना के साथ स्थिति और खराब हो सकती है। विश्व स्वास्थ्य संगठन पहले ही कह चुका है कि बाढ़ वाले क्षेत्रों में 6.4 मिलियन से अधिक लोगों को मानवीय सहायता की आवश्यकता है।
गौरतलब है कि पाकिस्तान में आई बाढ़ से 1.6 मिलियन घर, 5,735 किमी (3,564 मील) परिवहन लिंक, 750,000 पशुधन और 2 मिलियन एकड़ (809,370 हेक्टेयर) से अधिक कृषि भूमि को तबाह कर दिया है। पाकिस्तान में जुलाई और अगस्त में 30 साल के औसत से लगभग 190 प्रतिशत अधिक बारिश हुई है, जो कुल 391 मिमी (15.4 इंच) है, जबकि सिंध में सबसे अधिक औसतन 466% से अधिक बारिश रिकॉर्ड हुई है।