सनातन धर्म में एकादशी तिथि का विशेष महत्व है। पौष माह के शुक्ल पक्ष की एकादशी तिथि को पुत्रदा एकादशी के नाम से जाना जाता है। इस खास अवसर पर जगत के पालनहार भगवान विष्णु की पूजा और व्रत करने का विधान है। इस बार पौष माह में 21 जनवरी पुत्रदा एकादशी है। मान्यता है कि पुत्रदा एकादशी के दिन कुछ कार्यों करने की सख्त मनाही है, जिनको करने से साधक को जीवन में दुख और संकटों का सामना करना पड़ता है और भगवान विष्णु, माता लक्ष्मी रुष्ट हो जाती हैं। साथ ही पूजा का पूर्ण फल प्राप्त नहीं होता है। चलिए जानते हैं पुत्रदा एकादशी के दिन किन कार्यों को करने से बचना चाहिए।
पुत्रदा एकादशी का शुभ मुहूर्त
पंचांग के अनुसार, पौष माह के शुक्ल पक्ष की एकादशी तिथि की शुरुआत 20 जनवरी को संध्याकाल 07 बजकर 26 मिनट से होगी और इसके अगले दिन यानी 21 जनवरी को संध्याकाल में 07 बजकर 26 मिनट पर तिथि का समापन होगा। इस बार 21 जनवरी को पौष पुत्रदा एकादशी मनाई जाएगी।
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