रायपुर। गणेशोत्सव को ध्यान में रखते हुए प्रशासन और रायपुर पुलिस अधिकारियों ने शहर में शांति व्यवस्था स्थापित करने व सुगम यातायात व्यवस्था बनाए रखने के लिए डीजे धुमाल संचालकों की बैठक ली। इसमें 70-80 डीजे-धुमाल संचालक शामिल हुए।
बैठक में एडीएम एनआर साहू ने डीजे धुमाल संचालकों को उच्चतम न्यायालय द्वारा डीजे धुमाल संचालन के संबंध में जारी दिशा-निर्देशों के बारे में अवगत कराते हुए नियमानुसार डीजे धुमाल संचालन करने समझाइश दी। साथ ही डीजे संचालन के दौरान किसी भी संप्रदाय के भावनाओं को आहत करने वाला गाना नहीं बजाने के निर्देश दिए गए।
एएसपी शहर रायपुर सुखनंदन राठौर ने डीजे-धुमाल संचालकों को बताया कि उच्च न्यायालय के दिशा निर्देश अनुसार रात्रि दस बजे के बाद डीजे धुमाल बजाना प्रतिबंधित होगा। रात दस बजे के बाद डीजे धुमाल बजते पाए जाने पर नियमानुसार कार्यवाही की जाएगी। निर्धारित मापदंड के अनुरूप ही डीजे धुमाल बजाएंगे। मापदंड के अनुरूप तेज आवाज में बजाते पाए जाने पर नियमानुसार कार्यवाही की जाएगी। साइलेंट जोन हॉस्पिटल, स्कूल मंदिर के आसपास डीजे संचालन प्रतिबंधित रहेगा| साइलेंट जोन पर डीजे संचालन किए जाने पर नियमानुसार कार्रवाई की जाएगी। यदि किसी आयोजक द्वारा जोर जबरदस्ती पूर्वक डीजे धुमाल संचालित करने हेतु बाध्य किया जाता है तो उसकी सूचना संबंधित थाने में पुलिस कंट्रोल को देंगे ताकि संबंधित के विरुद्ध आवश्यक कार्रवाई की जा सके।
बाहर जिले से आकर नियमों का उल्लंघन कर डीजे धुमाल संचालन किए जाने वालो की सूचना संबंधित थाने एवं पुलिस कंट्रोल को दें ताकि संबंधित के विरुद्ध भी नियमानुसार कार्यवाही की जा सके। मालवाहक वाहनों में डीजे बॉक्स साउंड सिस्टम बांधना प्रतिबंधित है। ऐसा करते पाए जाने पर कार्यवाही की जाएगी।
अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक यातायात जयप्रकाश बढ़ाई ने बैठक के दौरान उपस्थित डीजे धुमाल संचालकों को निर्देशित किया गया कि अधिकांश डीजे धुमाल संचालक मालवाहक वाहनों में बॉडी के बाहर बॉक्स और लाउड स्पीकर लगाकर बजाते हैं। साथ ही, बीच रोड में डीजे संचालित करते हैं, जिससे मार्ग यातायात बाधित होती है। इससे जाम की स्थिति निर्मित हो जाती है। ऐसी स्थिति होने पर संबंधित डीजे संचालक और आयोजक दोनों के विरुद्ध नियमानुसार कार्यवाही की जाएगी।
बैठक के दौरान प्रदूषण विभाग से आए अधिकारी द्वारा भी उपस्थित डीजे धुमाल संचालकों को ध्वनि प्रदूषण के बारे में जानकारी देते हुए बताया कि आवासीय क्षेत्रों में 65 डेसीबल, औद्योगिक क्षेत्रों में 75 डेसीबल, साइलेंट जोन में 50 डेसीबल और रहवासी क्षेत्र में 60 डेसिबल से अधिक आवाज में डीजे धुमाल बजाना प्रदूषण की श्रेणी में आता है। इस पर प्रशासन एवं पुलिस द्वारा वैधानिक कार्यवाही की जा सकती है।