Monsoon 2024-मध्यप्रदेश में मौसम का मिजाज बदला हुआ है। मानसूनी गतिविधियां बढ़ने से अलग-अलग इलाकों में भारी बारिश का दौर जारी है। इस बीच अब मौसम विभाग ने एक बार फिर मध्यप्रदेश के लोगों की चिंता बढ़ा दी है। मौसम विभाग ने 24 घंटे के लिए इंदौर, जबलपुर समेत 15 जिलों के लिए भारी बारिश का अलर्ट जारी किया है। मौसम विभाग ने कहा है कि इन जिलों में भारी बारिश होने की संभावना है।
Monsoon 2024-मौसम विभाग से मिली जानकारी के मुताबिक स्ट्रॉन्ग सिस्टम की वजह से प्रदेश के कई जिलों में भारी बारिश हो रही है। रविवार को भी कई जिलों में भारी बारिश हो सकती है।
इनमें नीमच, मंदसौर, आगर-मालवा, राजगढ़, शाजापुर, इंदौर, बड़वानी, खरगोन, पांढुर्णा, छिंदवाड़ा, सिवनी, जबलपुर, नरसिंहपुर, रायसेन, सागर शामिल है। वहीं भोपाल, ग्वालियर, उज्जैन समेत प्रदेश के अन्य जिलों में हल्की बारिश, आंधी और गरज-चमक की संभावना है। मौसम विभाग ने यह भी कहा है कि 31 जुलाई से नए और स्ट्रॉन्ग सिस्टम बनेगा। जिसके वजह से एक बार फिर प्रदेश में झमाझम बारिश होने की संभावन बनी हुई है।
Monsoon 2024-मध्यप्रदेश में अब तक मानसून सीजन की 103% बारिश हो चुकी है। 16 इंच के मुकाबले 16.5 इंच यानी 0.5 इंच ज्यादा पानी गिर चुका है। यह औसत बारिश से 3% ज्यादा है। प्रदेश की छोटी नदियां उफान पर हैं, बड़ी नदियों और बांधों में लगातार पानी बढ़ रहा है।
Monsoon 2024-मौसम विभाग ने रविवार को इंदौर, जबलपुर समेत प्रदेश के 15 जिलों में तेज बारिश का अलर्ट जारी किया है। भोपाल में सुबह से कभी तेज, कभी रिमझिम बारिश हो रही है।
Monsoon 2024-29-30 जुलाई को तेज बारिश का दौर थम जाएगा, लेकिन 31 जुलाई से फिर स्ट्रॉन्ग सिस्टम की एक्टिविटी शुरू होगी।
Monsoon 2024-इससे पहले शनिवार को पन्ना, शाजापुर, विदिशा, रायसेन, सीहोर, देवास, पचमढ़ी, आगर-मालवा में बाढ़ जैसे हालत बने। कई गांवों का मुख्यालयों से संपर्क कटा रहा।
मौसम विभाग ने बताया, ‘मानसून ट्रफ लाइन ग्वालियर से सीधी होकर जा रही है, जो आगे लो प्रेशर एरिया में मर्ज हो रही है। बंगाल के ऊपर एक लो प्रेशर भी एक्टिव है। आने वाले दिनों में यह आगे बढ़ेगा। मध्य भारत से जैसे ही यह गुजरेगा, मध्यप्रदेश में बारिश का दौर बनेगा।
एक अन्य ट्रफ लाइन भी है, जिसकी एक्टिविटी 31 जुलाई से देखने को मिल सकती है। स्ट्रॉन्ग सिस्टम की वजह से प्रदेश में फिर भारी बारिश होगी। 29-30 जुलाई को तेज बारिश का अलर्ट नहीं है।’
मध्यप्रदेश में अब तक सामान्य 16.5 इंच बारिश हो चुकी है, जो 3% अधिक है। पश्चिमी हिस्से- भोपाल, इंदौर, उज्जैन, नर्मदापुरम, ग्वालियर-चंबल संभाग में एवरेज से 6% ज्यादा पानी गिर चुका है, जबकि पूर्वी हिस्से- रीवा, सागर, जबलपुर और शहडोल संभाग में 1% कम बारिश हुई है।
हालांकि, जबलपुर संभाग के जिले- सिवनी, डिंडौरी, छिंदवाड़ा, मंडला और बालाघाट में सबसे ज्यादा बारिश हुई है। बारिश के मामले में भोपाल संभाग भी आगे है।प्रदेश में पिछले 11 दिन से तेज बारिश हो रही है। इस कारण डैम और तालाबों में भी पानी बढ़ा है। 24 घंटे में सीहोर के कोलार डैम में 2 फीट पानी बढ़ा है। इंदिरा सागर डैम में 3 फीट पानी की बढ़ोतरी हुई है। बरगी और गोपीकृष्ण डैम में भी पानी की आवक हो रही है।
भोपाल का बड़ा तालाब अब करीब दो फीट ही खाली है। शहडोल के बाणसागर, नर्मदापुरम के तवा डैम, भोपाल के कलियासोत, राजगढ़ के मोहनपुरा और कुंडालिया डैम में भी पानी बढ़ा है।