बिलासपुर— एक फरवरी को केन्द्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमन ने इस पंचवर्षीय सरकार का अंतिम बजट पेश किया। जहां सत्तादल के नेताओं ने मोदी सरकार के बजट को क्रांतिकारी बताया। तो कांग्रेस नेताओं ने बजट को काफी निराशजनक कहा है। कांग्रेस नेताओं ने बताया कि भाजपा सरकार ने एक बार फिर विजनलेश और विज्ञापन वाला बजट पेश किया है।
कांग्रेस नेताओं ने केन्द्रीय बजट पर प्रतिक्रिया जाहिर किया है। शहर अध्यक्ष विजय पांडेय ने कहा कि केंद्र सरकार ने 1 फरवरी को अंतरिम बजट पेश किया। उन्होने बताया कि जनता को बेसब्री के साथ केंद्रीय बजट का इंतिजार था। लेकिन मोदी सरकार ने एक बार फिर विज्ञापनवाला बजट पेश कर जनता को निराश किया है।
इस बार का बजट…पिछले बजट से कहीं ज्यादा निराशाजनक है। बजट में किसान, मजदूर, महिला, लघु -मध्यम- कुटीर उद्योग पर कोई ध्यान नही दिया है। लघु और कुटीर उद्योग ,कृषि ,कपड़ा उद्योग सबसे ज्यादा रोजगार देने वाला क्षेत्र है। पिछले 10 सालों में इस क्षेत्र की हालत बद से बदतर है। विज्ञापन वाला यह बजट दिखने में अच्छा लग सकता है। लेकिन किसी को कुछ फायदा होने वाला नहीं है।
विजय पाण्डेय ने बताया कि केंद्र सरकार ने मनरेगा पर कोई विशेष ध्यान नही दिया है। यह जानते हुए भई कि मनरेगा गरीबो के लिए आक्सीजन से कम नहीं है। केंद्र सरकार को पूरे देश मे धान का समर्थन मूल्य 3100 रुपये करना चाहिए । दुर्भाग्य है कि छत्तीसगढ़ की जनता को भी समर्थन मूल्य का लाभ नही मिल रहा है।